noon hospital

#WorldMalariaDay

विश्व मलेरिया दिवस हर साल 25 अप्रैल को मनाया जाता है। यह दिवस मलेरिया की रोकथाम और नियंत्रण के लिए निरंतर निवेश और निरंतर राजनीतिक प्रतिबद्धता की आवश्यकता पर प्रकाश डालता है।
इस वर्ष, विश्व मलेरिया दिवस 2022 का विषय है, “हम इन देशों को एक उदाहरण के रूप में देखकर इस भयानक बीमारी पर विजय प्राप्त कर सकते हैं और लोगों की आजीविका और भलाई को बढ़ा सकते हैं।”

नून अस्पताल पर्यावरण को साफ रखने में भी मदद करता है, हम अपने परिसर को साफ और हरा भरा रखते हैं और नदियों और तालाबों जैसे किसी अन्य खुले स्रोत में अपशिष्ट जल नहीं फैलाते हैं ।

नून अस्पताल नियमित रूप से समाज में रोकथाम और स्वास्थ्य जांच कार्यक्रम आयोजित करता है, जिसके द्वारा लोग अपने स्वास्थ्य के बारे में जागरूक हो सकते हैं और किसी भी हानिकारक बीमारी से पहले अपने जीवन को रोक सकते हैं ताकि हम एक बेहतर पर्यावरण और समाज बना सकें।

#WorldEarthDay

धरती, हमारी मां प्रकृति और उससे जुड़ी हर चीज कितनी खूबसूरत है।

पृथ्वी दिवस प्रतिवर्ष 22 अप्रैल को मनाया जाता है। पृथ्वी दिवस 2022 की थीम ‘हमारे ग्रह में निवेश करें’ है। यहां मुख्य बिंदु एक साहसिक तरीके से कार्य करना, व्यापक रूप से नवाचार करना और न्यायसंगत तरीके से लागू करना है। यह पर्यावरण संरक्षण के लिए समर्थन दिखाने और जलवायु संकट के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए है।

नून हॉस्पिटल का सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) प्रदूषण को खत्म करता है, धरती माता की देखभाल करता है और जीवन बचाता है।

हमारे आस-पास, फार्मास्यूटिकल्स, रेडियोन्यूक्लाइड, कीटाणुनाशक, और सॉल्वैंट्स का उपयोग हर अस्पताल में रोगियों के इलाज, चिकित्सा गतिविधियों और अनुसंधान के लिए किया जाता है, और अस्पताल का अपशिष्ट जल हमारे प्राकृतिक पारिस्थितिकी तंत्र को दूषित करता है जिसके परिणामस्वरूप दुनिया भर में समग्र पर्यावरणीय क्षति और प्रमुख मानव स्वास्थ्य समस्याएं होती हैं। नून अस्पताल हमेशा पर्यावरणीय क्षति को रोकने और मनुष्यों, जानवरों, पौधों और हमारे आसपास और हमारे साथ रहने वाले सभी जीवन को बचाने के लिए विभिन्न पहल करता है। धरती माता की देखभाल और मनुष्यों, जानवरों और पौधों को बचाने के लिए सभी अपशिष्ट जल के उपचार और निष्प्रभावीकरण के लिए एक सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी)। हम बागवानी, सफाई और कुछ धोने के उद्देश्यों के लिए पानी को रीसायकल और पुन: उपयोग करते हैं।

नून हॉस्पिटल ने मनाई अंबेडकर जयंती

भारत के संविधान के जनक डॉ भीमराव अंबेडकर का जन्म 14 अप्रैल, 1891 को हुआ था और भारत में उनके योगदान को श्रद्धांजलि देने के लिए प्रतिवर्ष 14 अप्रैल को अंबेडकर जयंती मनाई जाती है।

डॉ. भीमराव अंबेडकर एक राजनीतिज्ञ, अर्थशास्त्री, दार्शनिक, मानवविज्ञानी और समाज सुधारक थे, जिन्होंने भारतीय जाति व्यवस्था के खिलाफ आवाज उठाकर दलित समुदाय के अधिकारों के लिए लड़ाई लड़ी। डॉ. बी.आर. अम्बेडकर भारत के संविधान के मुख्य वास्तुकार थे जो महिलाओं और श्रम अधिकारों के लिए भी खड़े थे।

अम्बेडकर जयंती का महत्व इसलिए है क्योंकि यह जाति-आधारित कट्टरता की ओर ध्यान आकर्षित करती है जो आजादी के 75 साल बाद भी हमारे समाज में बनी हुई है।

हम इस दिवस को मनाने के द्वारा वंचितों के उत्थान में बाबासाहेब के योगदान का स्मरण करते हैं। अम्बेडकर ने भारतीय संविधान का मसौदा तैयार किया जो जाति, पंथ, धर्म, नस्ल या संस्कृति की परवाह किए बिना सभी नागरिकों को समान अधिकारों की गारंटी देता है।

#WorldHealthDay

2022 विश्व स्वास्थ्य दिवस की थीम “हमारा ग्रह हमारा स्वास्थ्य” है

स्वास्थ्य हमारा सबसे बुनियादी मानव अधिकार है और सतत विकास के सबसे महत्वपूर्ण संकेतकों में से एक है। इस विश्व स्वास्थ्य दिवस पर, आइए हम सभी अपनी आने वाली पीढ़ियों के लिए अपने ग्रह को एक स्वस्थ स्थान बनाने का संकल्प लें।
वैश्विक रोगों के बारे में जागरूकता समाज के समग्र स्वास्थ्य को प्रभावित करने में मदद कर सकती है।
चूंकि एनीमिया एक गंभीर वैश्विक सार्वजनिक स्वास्थ्य समस्या है जो विशेष रूप से छोटे बच्चों और गर्भवती महिलाओं को प्रभावित करती है। डब्ल्यूएचओ का अनुमान है कि दुनिया भर में 5 साल से कम उम्र के 42% बच्चे और 40% गर्भवती महिलाएं एनीमिक हैं।

एनीमिया- राजस्थान- भारत

प्री-स्कूल (6-59 महीने) के बच्चों में एनीमिया उनके शारीरिक और मानसिक विकास पर प्रतिकूल प्रभाव डालने के जोखिम में डालता है। एनीमिक बच्चों में, हृदय को अत्यधिक काम करना चाहिए क्योंकि इसके कारण रक्त में ऑक्सीजन की आपूर्ति प्रभावित रहती है। गंभीर एनीमिया मौत का कारण बन सकता है।
15-19 वर्ष की आयु की महिलाओं में एनीमिया 54.1% से बढ़कर 59.1% हो गया है। किशोरों और युवा महिलाओं में एनीमिया का बढ़ता प्रचलन चिंता का एक प्रमुख कारण है क्योंकि यह गर्भधारण में जटिलताओं के जोखिम को बढ़ाता है और एनीमिक शिशुओं के जन्म की संभावना को बढ़ाता है। इसके कारण भारत में IMR (शिशु मृत्यु दर) और MMR (मातृत्व मृत्यु दर) बहुत अधिक है।

महिलाओं और बच्चों के लिए उचित शिक्षा और जागरूकता कार्यक्रमों से इसे कम किया जा सकता है जो एनीमिया के प्रसार को कम कर सकता है।
प्रसार 58.6% से बढ़कर 67.1% हो गया है, जो 8.5% की भारी छलांग है। बच्चों में पोषण स्तर में सुधार के लिए केंद्र और राज्य सरकारों द्वारा शुरू किए गए बहुत सारे कार्यक्रमों के बावजूद, प्रीस्कूल बच्चों में एनीमिया की व्यापकता काफी बढ़ गई है।

नून हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर इस क्षेत्र के लोगों और विशेष रूप से ग्रामीण राजस्थान के लोगों को मातृ मृत्यु और शिशु मृत्यु दर से संबंधित बीमारियों को रोकने के लिए लड़कियों, महिलाओं, मां और बच्चे के बीच पोषण की गुणवत्ता में सुधार करने के लिए प्रोत्साहित करता है।

साथ ही वैश्विक पर्यावरण और स्वास्थ्य के मुद्दों पर विचार करते हुए, यह महत्वपूर्ण है कि हम अपनी मिट्टी, पानी, हवा और पर्यावरण को लगातार और चौबीसों घंटे मनुष्यों द्वारा होने वाले खतरों और प्रदूषण से मुक्त रखें।

आइए अपने राजस्थान को अपना स्वास्थ्य बनाएं, यह वैश्विक स्वास्थ्य में योगदान दे रहा है।

नून हॉस्पिटल 14वीं वर्षगांठ मनाई

पिछले 14 वर्षों से लगातार स्वास्थ्य सेवाओं में समर्पित नून हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेन्टर, भवानीमंडी में आज 14 वीं सालगिरह पर “वॉक फोर हेल्थ’ जागरूकता रैली का आयोजन किया गया. जो आज सुबह 06:00 बजे नून कॉम्पलेक्स बैंक ऑफ बढ़ोदा के यहाँ से शुरू होकर नून हॉस्पिटल तक जारी रही. जिसमें हॉस्पिटल के सभी डॉक्टर्स एवं स्टॉफ ने भाग लिया साथ ही में अथिति नगर कांग्रेस अध्यक्ष कालूलाल सालेचा, राजेश करावन बालूसिंह जी, एडवोकेट विधानचन्द, भारत विकास परिषद एवं दुर्गाशंकर यादव भी साथ थे।

इस वॉक फोर हेल्थ जागरूकता रैली में हॉस्पिटल के वरिष्ठ फिजिशियन डॉ. एच.एस. विश्नोई जिनकी उम्र 78 वर्ष है, वो भी इस 7 कि.मी. लम्बी रैली में पैदल चले एवं हॉस्पिटल पहुॅचकर अपनी फिटनेस के बारे में पूछने पर उन्होंने बताया कि समय पर भोजन एवं कसरत व व्यायाम को अपने जीवन का एक अभिन्न अंग बना ले तो आप हमेशा फिट रह सकते है।

साथ ही वरिष्ठ फिजिशियन डॉ. कर्नल चेतन शारदा ने कहा लोग अपनी दिनचर्या में प्रतिदिन चलना शामिल करें, क्योंकि कोरोना के बाद अधिकतर मरीजों में पाया जा रहा है, कि लोगों को फेफडों से सम्बन्धित ज्यादा परेशानी हो रही है, इसलिए सुबह के समय चलने से अपने शरीर एवं फेफड़ों को मजबूत बनाकर स्वस्थ्य रह सकते हैं। इस आयोजन का उद्देश्य आमजन को जागरूक करना था कि नियमित पैदल बलना एवं व्यायाम हमारे शरीर एवं हमारे इम्यून सिस्टम को मजबूत एवं सुदृढ करता है। इस प्रक्रिया से अपने शरीर को विभिन्न बीमारियों से दूर रख सकते हैं।

नून हॉस्पिटल आमजन से निवेदन करता है, कि आप सभी पैदल चलना दौड़ना और कसरत को अपनी दिनचर्या का अनिवार्य अंग बनाए जिससे की बार बार हॉस्पिटल जाने कि जरूरत ना पड़े एवं अपने परिवार व समाज को स्वस्थ्य रखने में अपना योगदान प्रदान करें।

इस मौके पर हॉस्पिटल के मुख्य कार्यकारी अधिकारी देवव्रत मुखर्जी ने आये हुए सभी अथितियों, डॉक्टर्स एवं स्टॉफ को इस आयोजन को सफल बनाने के लिए धन्यवाद एवं बधाई दी एवं उन्होंने अपने उद्धबोधन में कहा कि नून हॉस्पिटल अब अच्छी स्वास्थ्य सेवाओं एवं रोजगार के साथ-साथ बहुत जल्द स्वास्थ्य के क्षेत्र में एजुकेशन सेन्टर खोलने जा रहा है, जिसमें क्षेत्र व आस-पास के बच्चे पढ़कर स्वास्थ्य क्षेत्र का विभिन्न अंग बनकर स्वास्थ्य प्रक्रिया बेहतर बनाने में अपना योगदान दे सकेंगें। “देश में स्वास्थ्य क्षेत्र को विभिन्न स्तर में योग्य एवं निपुण कर्मियों का अभाव बहुत ही ज्यादा है। नून हॉस्पिटल के लेटेस्ट एवं एडवांस क्रिटिकल टेक्नोलॉजी सेटअप, अत्यधिक अनुभवी और कुशल सिनियर कंसलटेंट एवं सभी विभागों के नर्सिंग, पेरामेडीकल, क्लीनिकल एवं नॉन क्लीनिकल सर्पोट स्टॉफ एवं उच्च विशेषज्ञ और व्यवहारिक पाठ्यक्रम संरचना उपरोक्त मुद्दे को कुशलता से संबोधित कर सकती है।

स्वास्थ्य. आशा.

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